जयपुर. भरतपुर के तत्कालीन डीआईजी का मामला लगातार गर्माया हुआ है प्रदेश में ये मामला इस समय हाइवोल्टेज बन चुका है दरअसल जांच प्रभावित नहीं हो और राजस्थान पुलिस बेदाग ही रहे इस कारण डीआईजी लक्ष्मण गौड को एपीओ कर दिया गया था। कार्मिक विभाग ने इसके आदेश निकाले थे। हांलाकि भरतपुर के जिस एसएचओ के पीछे यह पूरा मामला खुला है वह एसएचओ भी दूध का धुला नहीं है। वह भी कई मामलों में अफसरों की नजर में रहा है। उसके खिलाफ भी एसीबी की जांच की जा रही है।
अब इस बीच भरतपुर संभाग के 14 विधायकों ने मुख्यमंत्री अशोक गहलोत से मुलाकात कर शिकायत भी की थी ! संभाग के बाडी विधानसभा क्षेत्र के विधायक गिर्राज सिंह मलिंगा ने प्रेस वार्ता करते हुये सरकार से मांग की है कि डीआईजी का नार्को टेस्ट होना चाहिए नार्को टेस्ट से ही सच सामने आयेगा और इनको कहीं RAC में भेज देना चाहिए नहीं तो ये जांच को प्रभावित करते रहेगें ! साथ ही विधायक मलिंगा ने तत्कालीन भरतपुर डीआईजी पर गंभीर आरोप भी लगाये और कहा कि जो डीआईजी थे वे खुद डकैतों से मिले हुये थे और धौलपुर में डीआईजी ने डकैतों से मुठभेड रूकवायी थी !
एसीबी कर चुकी पूछताछ
रेंज के पूर्व पुलिस उपमहानिरीक्षक लक्ष्मण गौड के नाम पर रिश्वत लेने के मामले में भ्रष्टाचार निरोधक ब्यूरो के एडीजी दिनेश एमएन ने सोमवार को जिले के थाना प्रभारियों से कई घंटे तक पूछताछ की थी सूत्रों के हवाले से खबर है कि पूछताछ में कुछ थाना प्रभारियों ने दलाल प्रमोद शर्मा के फोन उनके पास आने की बात स्वीकारी है। साथ में लंच थाना प्रभारियों के लंच करने की भी खबरें हैं। पूछताछ रिजर्व पुलिस लाइन स्थित अन्वेषण भवन में हुई थी
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